निकोलो मैकियावेली
निकोलो मैकियावेली | |
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![]() Portrait of Machiavelli by Santi di Tito | |
जनम | 3 मई 1469 Florence, Republic of Florence |
निधन | 21 जून 1527 Florence, Republic of Florence | (उमिर 58)
उल्लेखनीय काम | The Prince, Discourses on Livy |
जुग | Renaissance philosophy |
इलाका | Western philosophy |
मतपरंपरा | Classical realism Classical republicanism |
मुख्य इन्ट्रेस्ट | Politics and political philosophy, military theory, history |
उल्लेख जोग बिचार | Classical realism, virtù, multitude, national interest |
Influences
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Influenced
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दसखत | |
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निकोलो मैकियावेली (Niccolò di Bernardo dei Machiavelli; ३ मई १४७९ - २१ जून १५२७) इटली के एगो दार्शनिक आ लेखक रहन। इनकर किताब द प्रिंस बहुत प्रख्यात बाटे जेकरा ई १५१३ मे गहले रहन। इनकरा आधुनिक राजनीति बिज्ञान के पिता कहल जाला।
ई बहुत दिन ले फ्लोरेंस राज दरबार मे मंत्री रहन। ई कबिता आ चुटकुला लिखत रहन। मैकियावेली राजनीतिक लड़ाई सभ के नैतिकता से आँखि से ना देखलें बाकिर ऊ मानत रहन जे इ सभ एगो खेला हऽ जेकर नियाम पहिले से बनावल बाटे। हुनकर अनुभव से ऊ जानत रहन जे राजनीती खाली छल आ अपराध से होला। यू कहले बाड़न जे एगो राजा जे केवनो राज स्थापित करत बजी केवनो कुकरम करऽता तऽ ओकरा माफ कऽ देवे के चाहीं जदि एकर परिनाम से लाभ मिले के बा। इनकर पुस्तक द प्रिंस प ढेर लोग आपन राए देल, केहू कहलस की एह पुस्तक मे "ई लिखल बा की कइसे खराब राजा सभ राज चलावेलऽसन" तऽ केहू कहलस जे "एहमे राजा सभ के सुझाव दिहल बा के कइसे ऊ आपन राज बचा सकेला"।
जीनगी[संपादन करीं]
मैकियावेली इटली के फ़लोरेंस मे जनमल रहन। ई अपना माई बाबू के तीसरका बच्चा आ पहिलका ललना रहन। मैकियावेली १५०२ मे मारेट्टा कोरसिनी से बियाह कइलें। ई बयाकरन, अलंकार शास्त्र आ लैटिन पढ़लें। अईसन मानल जाला जे ई यूनानी भाषा ना पढ़लन भले ओह घड़ी फ़लोरेंस मे एकर पढ़ाई होखत रहे। १४९४ मे फ़लोरेंस मे मेडिसी, जे साठ बरस राज कइले रहे, के हटा के जनतंत्र स्थापित भइल। मैकियावेली उहे राज के मंत्री बनलें।
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- ↑ J.-J. Rousseau, Contrat sociale, III, 6
- ↑ Airaksinen, Timo (2001). The philosophy of the Marquis de Sade. Taylor & Francis e-Library. p. 20. ISBN 0-203-17439-9.
Two of Sade's own intellectual heroes were Niccolò Machiavelli and Thomas Hobbes, both of whom he interpreted in the traditional manner to recommend wickedness as an ingredient of virtue.
- ↑ Diderot, Denis. "Machivellianism". Encyclopedie.
- ↑ Najemy, John M. (2010). The Cambridge Companion to Machiavelli. Cambridge University Press. p. 259.